पथेर पाचाली फिल्म की शूटिग का काम ढाई साल तक निम्नलिखित कारणों से चला था I
- लेखक विज्ञापन कंपनी में काम करते है I
- कलाकार को साथ करने में समय लग जाता है I
- पैसे का अभाव है I
- तकनीकी पिछडापन आदि I
पथेर पचाली फिल्म के द्रश्य में अपू के साथ काश्फूलो के वन में शूटिंग करते थे सुबह शूटिंग करके शाम तक सीन का आधा भाग चितित्र है निर्देशक छायाकार छोटे अभिनेता – अभिनेत्री सभी
इस में नवागत होने के कारण थोड़े बोराए है I सात दिन बाद शूटिंग के लिए उस जगह थे I
(क) पथेर पाचाली फिल्म के एक द्रश्य में श्रीनिवास नामक घूमते मिठाईवाला से मिठाई खरीदने के लिए अपू और दुर्गा के पास पैसे नहीं थे वे तो मिठाई खरीद नहीं सकते थे इसलिए अपू और दुर्गा उस मिठाईवाला के पीछे पीछे मुखर्जी के घर के पास जाते थे मुखर्जी अमीर आदमी थे उनका मिठाई खरीदना देखने में ही अपू और दुर्गा की खुशी थी I
(ख) एक द्रश्य में अपू खाते खाते ही कमान से तीर छोड़ता था उसके बाद खाना छोड़कर तीर वापस लाने के लिए जाता था सर्वजया बाएँ हाथ में वह थाली और दाहिने हाथ में निवाला लेकर बच्चे के पीछे थी लेकिन बच्चे के भाव देखकर जान जाते थे कि वह अब कुछ नहीं खाएगा भूलो कुत्ता भी खड़ा होता था उसका ध्यान सर्वजया के हाथ में जो भात की थाली थी उसकी और थे I
भूलो की म्रत्यु होने की वजह से उसके साथ किए हुए अधूरे शॉट को पूरा करने के लिए उसके जेसा दिखनेवाला दूसरा कुत्ता लाया गया था यह द्रश्य पूरा हुआ I
पथेर पाचाली फिल्म के एक द्रश्य में श्रीनिवास नामक घूमते मिठाईवाला से मिठाई खरीदने के लिए अपू और दुर्गा के पास पैसे नहीं थे वे तो मिठाई खरीद नहीं सकते थे इसलिए अपू और दुर्गा मिठाईवाला के पीछे पीछे मुखर्जी के घर के पास जाते थे I मुखर्जी अमीर आदमी थे उनका मिठाई खरीदना देखने में ही अपू और दुर्गा की ख़ुशी थी I
पैसों की कमी के कारण ही बारिश का द्रश्य चित्रित करने में बहुत मुश्किल आई है बरसात के दिन आए और गए लेकिन पास पैसे नहीं है इस कारण शूटिंग बद है आखिर जब हाथ में पैसे आए तब अक्टूबर का महीना शुरू हुआ था I शरद ऋतु में बारिश होना तो कम ही बना था I
किसी फिल्म की शूटिंग करते समय फिल्मकार को जिन समस्याओं का सामना करना पड़ता है, उन्हें सूचीबदध कीजिए।
फिल्म की शूटिंग करते समय फिल्मकार को निम्नलिखित समस्याओं का सामना करना पड़ा था I
- कलाकारों का चयन
- पैसों की कमी
- द्र्श्यो की निरतरता बनाए रखने में विघ्न
- संगीत तैयार करवाना आदि I
फिल्म शूटिंग के समय तीन प्रसग प्रमुख थे
- भूलो कुते के स्थान पर दूसरे कुत्ते को भूलो बनाकर प्रस्तुत करता है
- रेलगाड़ी से धुँआ उठवाने के लिए तीन रेलगाड़ियो का प्रयोग करता था
- काशफुलो को जानवरों द्वारा खा जाने के बाद अगले मोसम में सीन के शेष भाग की शूटिंग पूरी करनी है I
विद्यालय पर फिल्म बनाने के लिए हम उसका बहारी परिसर आतरिक सरचना , प्रधानचार्य , आचर्य , शिक्षक ,विद्यार्थियों , दिन भर की विविध गतिविधियाँ आदि दर्शय को चित्रित करते है कडवे से कडवे सत्य को उजागर किया जाता है I
यदि आधी फिल्म बनने के बाद चुनीबाला देवी की अचानक मृत्यु हो है टो राय उनके जेसी दिखनेवाली वृद्ध महिला को ढूढते न मिलने पर उनकी मृत्यु होती है I
फिल्म को सत्यजित राय एक कला माध्यम के रूप में देखते थे व्यावासिक माध्यम के रूप में नहीं यह निम्नलिखित बातो से सिद्ध था I
- वे फिल्म की कटीन्युटी बरकरार रखने का प्रयास I
- काश के फूल के लिए एक साल तक राह देखना आदि I